नई दिल्ली। बिहार में विधानसभा चुनाव की तारीख जैसे-जैसे नजदीक आ रही है, राजनीतिक सरगर्मी के साथ-साथ प्रशासनिक तैयारियां भी जोर पकड़ रही हैं। राज्य सरकार और चुनाव आयोग ने पहले चरण की वोटिंग को शांतिपूर्ण और व्यवस्थित बनाने के लिए बड़ा फैसला लिया है। इस फैसले के तहत, पहले चरण में मतदान वाले सभी जिलों के सरकारी और निजी स्कूल-कॉलेज बंद रहेंगे।
इस निर्णय का मकसद मतदान प्रक्रिया में किसी भी प्रकार की बाधा को रोकना है, क्योंकि अधिकांश मतदान केंद्र शैक्षणिक संस्थानों में ही बनाए जाते हैं। इससे न सिर्फ मतदान स्थल की तैयारी आसान होगी, बल्कि शिक्षकों और अन्य कर्मचारियों को चुनावी ड्यूटी में भी सुचारू रूप से शामिल किया जा सकेगा।
किन जिलों में लागू रहेगा स्कूल-कॉलेज बंद का आदेश?
पहले चरण में जिन 17 जिलों में चुनाव होना है, उनमें शामिल हैं:
पटना, दरभंगा, मधेपुरा, सहरसा, मुजफ्फरपुर, गोपालगंज, सीवान, सारण, वैशाली, समस्तीपुर, बेगूसराय, लखीसराय, मुंगेर, शेखपुरा, नालंदा, बक्सर और भोजपुर।
इन जिलों की 121 विधानसभा सीटों पर मतदान होगा और मतदान का समय सुबह 7 बजे से शाम 6 बजे तक रहेगा।
चुनावी कार्यक्रम पर एक नजर
- नामांकन की अंतिम तिथि: 17 अक्टूबर
- नामांकन पत्रों की जांच: 18 अक्टूबर
- नाम वापसी की आखिरी तारीख: 20 अक्टूबर
- पहले चरण का मतदान: अक्टूबर के अंतिम सप्ताह में
- दूसरा चरण: 11 नवंबर
- मतगणना और नतीजे: 14 नवंबर
सुरक्षा के व्यापक इंतजाम
चुनाव आयोग ने पहले चरण की वोटिंग के लिए बेहद सख्त सुरक्षा व्यवस्था की योजना तैयार की है।
कुल चुनावी ड्यूटी में तैनात कर्मी: 8.5 लाख
इनमें शामिल हैं:
- 4.5 लाख मतदान कर्मी
- 2.5 लाख पुलिसकर्मी
- 28,000 मतगणना कर्मी
- 18,000 माइक्रो ऑब्जर्वर
राज्य के हर मतदान केंद्र पर सुरक्षा बलों की तैनाती सुनिश्चित की जाएगी ताकि किसी भी तरह की गड़बड़ी या हिंसा की आशंका को पूरी तरह समाप्त किया जा सके।