Upgrade
पहल टाइम्स
  • होम
  • दिल्ली
  • राज्य
  • राष्ट्रीय
  • विश्व
  • धर्म
  • व्यापार
  • खेल
  • मनोरंजन
  • गैजेट्स
  • जुर्म
  • लाइफस्टाइल
    • स्वास्थ्य
    • फैशन
    • यात्रा
  • विशेष
    • साक्षात्कार
  • ईमैगजीन
  • होम
  • दिल्ली
  • राज्य
  • राष्ट्रीय
  • विश्व
  • धर्म
  • व्यापार
  • खेल
  • मनोरंजन
  • गैजेट्स
  • जुर्म
  • लाइफस्टाइल
    • स्वास्थ्य
    • फैशन
    • यात्रा
  • विशेष
    • साक्षात्कार
  • ईमैगजीन
No Result
View All Result
पहल टाइम्स
No Result
View All Result
  • होम
  • दिल्ली
  • राज्य
  • राष्ट्रीय
  • विश्व
  • धर्म
  • व्यापार
  • खेल
  • मनोरंजन
  • गैजेट्स
  • जुर्म
  • लाइफस्टाइल
  • विशेष
  • ईमैगजीन
Home राष्ट्रीय

तलवार की धार पर अजीत पवार

पहल टाइम्स डेस्क by पहल टाइम्स डेस्क
May 9, 2023
in राष्ट्रीय, विशेष
A A
26
SHARES
863
VIEWS
Share on FacebookShare on Whatsapp

नई दिल्ली : राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी में शरद पवार के इस्तीफे से उठा बवंडर अब लगभग शांत हो गया है। पवार के इस्तीफे से पार्टी में अनिश्चितता का जो माहौल बना था वो लगभग थम गया है। लेकिन यह तूफान आने के पहले वाली शांति है। पार्टी नेताओं और कार्यकर्ताओं की भावनाओं का सम्मान करते हुए शरद पवार एनसीपी अध्यक्ष बने रहने को तैयार हो गए हैं। वहीं नया अध्यक्ष खोजने के लिए जो समिति बनी थी, उस समिति ने भी शरद पवार को ही अध्यक्ष बने रहने की सिफारिश की है। लेकिन बात इतनी भर नहीं है।

राजनीतिक हलकों में लोग यह जानते हैं कि शरद पवार के कमान से जब भी कोई राजनीतिक तीर निकलता है तो वह केवल एक शिकार नहीं करता है बल्कि वह एक साथ कई शिकार करने में सिद्धहस्त हैं। महाराष्ट्र में महाविकास अघाड़ी की सरकार गिरने और शरद पवार के स्वास्थ्य की दशा को देखते हुए एनसीपी आंतरिक कलह की शिकार है। राष्ट्रीय स्तर पर विपक्ष का कोई मजबूत गठबंधन अभी आकार नहीं ले सका है। ऐसे में पार्टी के राज्य स्तरीय नेता अपने भविष्य को लेकर चिंतित है। कई बार ऐसी अफवाह भी फैली कि राजनीतिक महत्वाकांक्षा के वशीभूत अजीत पवार पार्टी के कई विधायकों को लेकर भाजपा से हाथ मिला सकते हैं। वर्तमान परिदृश्य में शरद पवार के सामने पार्टी बचाने और पार्टी के अंदर अपनी हनक का अंदाजा लगाने की चुनौती थी। वह इस बात का भी आंकलन करना चाह रहे थे कि यदि भविष्य में वह अपनी बेटी को अपना उत्तराधिकारी नामित करते हैं तो क्या उन्हें किसी विद्रोह का सामना करना पड़ सकता है?

इन्हें भी पढ़े

Sushil Gaikwad

सुशील गायकवाड़ ने महाराष्ट्र सदन के रेजिडेंट कमिश्नर का संभाला कार्यभार

October 10, 2025

परियोजनाओं को पूंजीगत निवेश के लिए राज्यों को मिलेगी विशेष सहायता

October 10, 2025
highway

10,000 KM के 25 ग्रीनफील्ड एक्सप्रेसवे बना रही सरकार!

October 9, 2025
Amit Shah

गृहमंत्री अमित शाह ने Gmail को कहा अलविदा, जानें क्या है नया Email एड्रेस?

October 8, 2025
Load More

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी गुटबाजी, असंतोष और महत्वाकांक्षा से उपजे संघर्ष से हलकान है। सही बात तो यह है कि एनसीपी में उत्तराधिकार के लिए संघर्ष चल रहा है। आंतरिक तौर पर राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी में दो ध्रुव हैं। एक तरफ शरद पवार-सुप्रिया सुले हैं तो दूसरी तरफ उनके भतीजे अजीत पवार हैं। ऐसा नहीं है कि दोनों गुटों में संघर्ष की स्थिति है। लेकिन अजीत पवार अपने को पार्टी और शरद पवार का स्वाभाविक उत्तराधिकारी मानते हैं। घर से लेकर विधानसभा तक वह पवार की अंगुली पकड़ कर बढ़ते रहे। लेकिन अब वह पवार की छाया से मुक्त होना चाहते हैं। पार्टी की बागडोर अपने हाथों में लेने और महाराष्ट्र का मुख्यमंत्री बनने को उतावले हैं।

शरद पवार के वह दुलारे हैं और उनके हर राजनीतिक दांवपेच से वाकिफ हैं। लेकिन शरद पवार अपना उत्तराधिकारी अपनी लाडली बेटी सुप्रिया सुले को ही बनाना चाहते हैं। यह बात सही है कि वह इसके लिए कोई सार्वजनिक घोषणा नहीं करना चाहते। उनकी इच्छा है कि अजीत पवार समेत समस्त पार्टी उनकी इस इच्छा को मान ले। और सुप्रिया को वह मान-सम्मान दे जो पार्टी अध्यक्ष के रूप में उन्हें मिलता रहा।

अध्यक्ष पद छोड़ने की घोषणा के बाद पवार के उत्तराधिकारी को लेकर चर्चाएं तेज हो गई थीं। इसमें उनके भतीजे और महाराष्ट्र के पूर्व उपमुख्यमंत्री अजित पवार का नाम आगे माना जा रहा था। इसके अलावा सुप्रिया सुले, प्रफुल्ल पटेल और जयंत पाटिल जैसे नेताओं का नाम भी सामने आ रहा था। नये अध्यक्ष को चुनने के लिए पवार ने एक कार्यकारिणी की नियुक्ति कर दी। और इस कार्यकारिणी में उन नेताओं को रखा जो भाजपा में जाने की योजना पर काम कर रहे थे। लेकिन कार्यकर्ताओं का दबाव और भावनाएं ऐसी तीव्र थीं कि उस कार्यकारिणी को पवार का इस्तीफा नामंजूर करना पड़ा। फिलहाल शरद पवार की इस्तीफे की शातिर चाल भी पुत्री सुप्रिया सुले को उत्तराधिकारी बनाने में असफल रही। जैसे ही उन्होंने सेवानिवृत्ति की घोषणा की, पार्टी जड़ से हिल गई।

शरद पवार का इस्तीफा पार्टी में बगावत को थामने और सुप्रिया सुले को अपना उत्तराधिकारी बनाने का लिटमस टेस्ट था। पवार यह देखना चाहते थे कि क्या आज भी एनसीपी के सांसद, विधायक, नेता और कार्यकर्ताओं के दिल में उनका वही सम्मान है, जो पहले था, या अब पार्टी पर अजीत पवार का एकछत्र राज हो गया है। शरद पवार ने बड़ी चालाकी से अपने को पार्टी के लिए अपरिहार्य साबित कर दिया। भतीजे को एक ही चाल में चित कर देने के बाद अब वह सुप्रिया सुले को आगे बढ़ाने की रणनीति पर काम कर रहे हैं। एक समय उत्तराधिकार के संघर्ष में पार्टी और परिवार के लोगों ने तय किया था कि अजीत पवार महाराष्ट्र की राजनीति देखेंगे और सुप्रिया सुले के हाथ में केंद्र की राजनीति होगी। लेकिन सुप्रिया सुले ने इस फॉर्मूले को नहीं माना।

अजीत पवार लंबे समय से पार्टी और परिवार का अधिकांश निर्णय करते और मानते रहे हैं। शरद पवार की पत्नी प्रतिभा पवार के भी वह प्रिय हैं तो सुप्रिया सुले के बड़े भाई हैं। मुंबई से लेकर बारामती और समूचे महाराष्ट्र के पार्टी कार्यकर्ताओं से उनका जीवंत संपर्क-संबंध हैं। ऐसे में वह हर कीमत पर एनसीपी की कमान अपने हाथों में लेना चाहते हैं। एक बात और है, वह अपने चाचा की तरह महाराष्ट्र का मुख्यमंत्री बनना चाहते हैं। लेकिन उनके सामने सुप्रिया सुले आ गई हैं।

राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी की इस समय वही स्थिति है जो कुछ वर्षों पहले उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी की थी। मुलायम सिंह यादव अपने बेटे अखिलेश यादव को अपना उत्तराधिकारी बनाना चाहते थे। लेकिन इटावा से लेकर लखनऊ तक उनके छोटे भाई शिवपाल यादव अपने को उनका राजनीतिक उत्तराधिकारी मानते थे। लेकिन ऐन मौके पर मुलायम सिंह यादव ने अपने बेटे अखिलेश को मुख्यमंत्री की कुर्सी सौंप दी। इसके बाद समाजवादी पार्टी के भीतर सत्ता संघर्ष में क्या हुआ और शिवपाल यादव को क्या-क्या दिन देखने को मिले, यह हर कोई जानता है।

इन्हें भी पढ़ें

  • All
  • विशेष
  • लाइफस्टाइल
  • खेल
CSIR

CSIR-IHBT में 83वें CSIR स्थापना दिवस समारोह का हुआ आयोजन

October 18, 2024

चुनाव से पहले कानूनी लड़ाई!

April 27, 2023
municipal corporation officials

वर्षा के कारण शहर में हुआ जलभराव, मौके पर पहुंचे नगर निगम के अधिकारी

May 25, 2025
पहल टाइम्स

पहल टाइम्स का संचालन पहल मीडिया ग्रुप्स के द्वारा किया जा रहा है. पहल टाइम्स का प्रयास समाज के लिए उपयोगी खबरों के प्रसार का रहा है. पहल गुप्स के समूह संपादक शूरबीर सिंह नेगी है.

Learn more

पहल टाइम्स कार्यालय

प्रधान संपादकः- शूरवीर सिंह नेगी

9-सी, मोहम्मदपुर, आरके पुरम नई दिल्ली

फोन नं-  +91 11 46678331

मोबाइल- + 91 9910877052

ईमेल- pahaltimes@gmail.com

Categories

  • Uncategorized
  • खाना खजाना
  • खेल
  • गैजेट्स
  • जुर्म
  • दिल्ली
  • धर्म
  • फैशन
  • मनोरंजन
  • यात्रा
  • राजनीति
  • राज्य
  • राष्ट्रीय
  • लाइफस्टाइल
  • विशेष
  • विश्व
  • व्यापार
  • साक्षात्कार
  • सामाजिक कार्य
  • स्वास्थ्य

Recent Posts

  • अमेरिका-रूस या चीन…सबसे ज्यादा हाइपरसोनिक मिसाइल कौन बना रहा है?
  • बिहार चुनाव: सीट बंटवारे पर राजी हुए चिराग पासवान, जल्द होगा ऐलान
  • दिल्ली सरकार का ऐलान, प्रदूषण कम का तरीका बताने पर मिलेंगे 50 लाख

© 2021 पहल टाइम्स - देश-दुनिया की संपूर्ण खबरें सिर्फ यहां.

  • होम
  • दिल्ली
  • राज्य
  • राष्ट्रीय
  • विश्व
  • धर्म
  • व्यापार
  • खेल
  • मनोरंजन
  • गैजेट्स
  • जुर्म
  • लाइफस्टाइल
    • स्वास्थ्य
    • फैशन
    • यात्रा
  • विशेष
    • साक्षात्कार
  • ईमैगजीन

© 2021 पहल टाइम्स - देश-दुनिया की संपूर्ण खबरें सिर्फ यहां.