Upgrade
पहल टाइम्स
  • होम
  • दिल्ली
  • राज्य
  • राष्ट्रीय
  • विश्व
  • धर्म
  • व्यापार
  • खेल
  • मनोरंजन
  • गैजेट्स
  • जुर्म
  • लाइफस्टाइल
    • स्वास्थ्य
    • फैशन
    • यात्रा
  • विशेष
    • साक्षात्कार
  • ईमैगजीन
  • होम
  • दिल्ली
  • राज्य
  • राष्ट्रीय
  • विश्व
  • धर्म
  • व्यापार
  • खेल
  • मनोरंजन
  • गैजेट्स
  • जुर्म
  • लाइफस्टाइल
    • स्वास्थ्य
    • फैशन
    • यात्रा
  • विशेष
    • साक्षात्कार
  • ईमैगजीन
No Result
View All Result
पहल टाइम्स
No Result
View All Result
  • होम
  • दिल्ली
  • राज्य
  • राष्ट्रीय
  • विश्व
  • धर्म
  • व्यापार
  • खेल
  • मनोरंजन
  • गैजेट्स
  • जुर्म
  • लाइफस्टाइल
  • विशेष
  • ईमैगजीन
Home राज्य

केंद्र सरकार कुकी आतंकवादियों के साथ,’मणिपुर’ साइनेज को हटाने का बहिष्कार।

पहल टाइम्स डेस्क by पहल टाइम्स डेस्क
May 22, 2025
in राज्य, विशेष
A A
19
SHARES
637
VIEWS
Share on FacebookShare on Whatsapp

मुरार सिंह कंडारी


नई दिल्ली। डीएमसीसी सदस्य नीलचंद्र ने प्रेसवार्ता में कहा “शिरुई लिली” महोत्सव मणिपुर में समुदायों के बीच एकता को बढ़ावा देने के लिए है। लेकिन ‘मणिपुर’ साइनेज को हटाने से बहिष्कार का संदेश जाता है, यह सुझाव देते हुए कि मणिपुर को भारत के नक्शे से मिटा दिया गया है। यह असहनीय है और भारतीयता के मूल ढांचे के खिलाफ है। इस धार्मिक और जातीय पक्षपात को रोकें।

इन्हें भी पढ़े

झंकार महिला मंडल ने की एंटी-ड्रग्स कैम्पेन

September 16, 2025
वक्फ कानून

सुप्रीम कोर्ट ने वक्फ (संशोधन) अधिनियम 2025 पर आंशिक रोक, वक्फ बाय यूजर सुरक्षित, कानून लागू।

September 16, 2025
wcl

वेकोलि में ‘स्वच्छता ही सेवा 2025’ एवं ‘विशेष अभियान 5.0’ का उत्साहपूर्वक हुआ शुभारंभ

September 15, 2025

श्री चंद्र सिंह नेगी मेमोरियल ट्रस्ट ने ‘एक वृक्ष पितरों के नाम’ अभियान के तहत किया वृक्षारोपण

September 15, 2025
Load More

डीएमसीसी प्रवक्ता डॉ. बोबो ने प्रेसवार्ता में कहा यह न केवल मणिपुर की मीडिया बिरादरी का उत्पीड़न है, बल्कि पूरे मीडिया उद्योग पर हमला है, क्योंकि यह लोकतंत्र के चौथे स्तंभ पर हमला है। कुकी उग्रवादियों को खुश करना और मैतेई लोगों को उनकी अपनी भूमि में अपमानित करना एक खतरनाक मिसाल है। यह याद रखना चाहिए कि पहला भारतीय झंडा मोइरांग में नेताजी सुभाष चंद्र बोस ने फहराया था। अगर हम कश्मीर से कन्याकुमारी तक सम्मान के साथ यात्रा कर सकते हैं, तो मणिपुर के भीतर क्यों नहीं?

डीएमसीसी की मांगें:

  • प्रधानमंत्री, गृह मंत्री और रक्षा मंत्री को यह स्पष्ट करना चाहिए कि मणिपुर की पहचान मिटाने के प्रयास क्यों किए जा रहे हैं और इन कार्रवाइयों के लिए सार्वजनिक रूप से माफ़ी मांगनी चाहिए।
  • चूंकि मणिपुर 1949 में भारत द्वारा अधिग्रहित किया गया था और इसलिए संघ में एकीकृत किया गया था, इसलिए भारत सरकार का मणिपुर की अखंडता और उसके नागरिकों के अधिकारों की रक्षा करना नैतिक, कानूनी और दायित्वपूर्ण है।

डीएमसीसी के सलाहकार हिजाम राजेन ने इस बात पर प्रकाश डाला:

“अफगानिस्तान में मेजर जोतिन के बलिदान से लेकर जम्मू में बीएसएफ जवान दीपक से लेकर मीराबाई चानू की खेलों में वैश्विक उपलब्धियों तक मणिपुर हमेशा भारतीय राष्ट्र के लिए अपने योगदान में दृढ़ रहा है। फिर भी, 20 मई की घटनाओं ने हमारे लोगों की भावनाओं को गहराई से आहत किया है, जिससे यह दर्दनाक सवाल उठता है-क्या विलय समझौते पर सहमत होना एक गलती थी? क्या भारत लोकतांत्रिक सिद्धांतों से संचालित होता है या सशस्त्र बलों की सनक से?

डीएमसीसी की महिला विंग की प्रवक्ता संगीता कैशम ने इस घटना की निंदा करते हुए इसे प्रेस की स्वतंत्रता पर हमला और विशेष रूप से मैतेई पहचान को दबाने का एक सुनियोजित प्रयास बताया। यह कोई ‘टालने योग्य घटना’ नहीं थी जैसा कि संबित पात्रा ने कहा, बल्कि यह मैतेई और मणिपुर का लक्षित अपमान था। पत्रकार अपनी ही धरती पर असुरक्षित हैं। प्रेम और सह-अस्तित्व की खूबसूरती को दर्शाने वाले इस उत्सव में भाग लेते समय अपनी पहचान छिपाना अस्वीकार्य है-मणिपुर भारत का खेल का मैदान नहीं है।

  • मणिपुर को विभाजित करने या जबरन उसके नाम और पहचान को उसकी अपनी भूमि से मिटाने का कोई भी प्रयास आक्रामकता और उकसावे का कार्य है जो शांति को खतरे में डालता है और मणिपुर के लोगों के खिलाफ हिंसा को भड़काता है।
  • अगर सुरक्षा बल मणिपुर की पहचान की रक्षा नहीं कर सकते तो उन्हें वापस बुला लिया जाना चाहिए।
  • कुकी उग्रवादियों के माध्यम से भारतीय राज्य द्वारा प्रायोजित हिंसा को रोकना।
  • मणिपुर में मीडिया और नागरिकों के लिए स्वतंत्र आवागमन का आश्वासन।
  • ऑपरेशन के निलंबन के नाम पर कुकी उग्रवादियों/आतंकवादी संगठन का समर्थन और संरक्षण करना बंद करें

निष्कर्ष

मणिपुर अपनी पहचान नहीं छोड़ेगा। इस सांस्कृतिक नरसंहार में भारतीय राज्य की मिलीभगत समाप्त होनी चाहिए। अगर मणिपुर विभाजित होता है, तो यह भारत की सांस्कृतिक विविधता पर हमला है। मणिपुर का निर्माण पीढ़ियों से अपने लोगों के खून, पसीने और बलिदान से हुआ है। हम किसी भी तरह का समझौता नहीं करेंगे और न ही अपनी धरती से अपनी पहचान मिटाने देंगे।

इन्हें भी पढ़ें

  • All
  • विशेष
  • लाइफस्टाइल
  • खेल

भगवान राम की शक्ति पूजा देख दर्शक हुए मंत्रमुग्ध

January 19, 2024

दम तोडती निष्पक्ष मिशनरी पत्रकारिता !

May 29, 2022
CM Dhami

महारूद्र यज्ञ अनुष्ठान में शामिल हुए सीएम धामी, आचार्यों को अंगवस्त्र भेंटकर किया सम्मानित

March 15, 2024
पहल टाइम्स

पहल टाइम्स का संचालन पहल मीडिया ग्रुप्स के द्वारा किया जा रहा है. पहल टाइम्स का प्रयास समाज के लिए उपयोगी खबरों के प्रसार का रहा है. पहल गुप्स के समूह संपादक शूरबीर सिंह नेगी है.

Learn more

पहल टाइम्स कार्यालय

प्रधान संपादकः- शूरवीर सिंह नेगी

9-सी, मोहम्मदपुर, आरके पुरम नई दिल्ली

फोन नं-  +91 11 46678331

मोबाइल- + 91 9910877052

ईमेल- pahaltimes@gmail.com

Categories

  • Uncategorized
  • खाना खजाना
  • खेल
  • गैजेट्स
  • जुर्म
  • दिल्ली
  • धर्म
  • फैशन
  • मनोरंजन
  • यात्रा
  • राजनीति
  • राज्य
  • राष्ट्रीय
  • लाइफस्टाइल
  • विशेष
  • विश्व
  • व्यापार
  • साक्षात्कार
  • सामाजिक कार्य
  • स्वास्थ्य

Recent Posts

  • झंकार महिला मंडल ने की एंटी-ड्रग्स कैम्पेन
  • इन लोगों को हर महीने 6 हजार रुपये देगी दिल्ली सरकार?
  • मोबाइल इंटरनेट चालू, वाई-फाई पर प्रतिबंध; इस देश में लिया गया अनोखा फैसला

© 2021 पहल टाइम्स - देश-दुनिया की संपूर्ण खबरें सिर्फ यहां.

  • होम
  • दिल्ली
  • राज्य
  • राष्ट्रीय
  • विश्व
  • धर्म
  • व्यापार
  • खेल
  • मनोरंजन
  • गैजेट्स
  • जुर्म
  • लाइफस्टाइल
    • स्वास्थ्य
    • फैशन
    • यात्रा
  • विशेष
    • साक्षात्कार
  • ईमैगजीन

© 2021 पहल टाइम्स - देश-दुनिया की संपूर्ण खबरें सिर्फ यहां.