नई दिल्ली: देश के वर्तमान प्रधान न्यायाधीश (सीजेआई) बीआर गवई 23 नवंबर को अपने पद से रिटायर होने जा रहे हैं। ऐसे में अगले सीजेआई को चुने जाने की प्रक्रिया की शुरुआत केंद्र सरकार द्वारा हो चुकी है। नियम के अनुसार, सुप्रीम कोर्ट और हाई कोर्ट में चीफ जस्टिस के बाद सबसे वरिष्ठ जज को यह पद मिलता है। इसकी सिफारिश मौजूदा सीजेआई करते हैं। अब सीजेआई बीआर गवई ने भी ऐलान कर दिया है कि अगले सीजेआई सुप्रीम कोर्ट में उनके बाद सबसे वरिष्ठ जज जस्टिस सूर्यकांत होंगे।
सोमवार को सीजेआई बीआर गवई केंद्र सरकार को अगले सीजेआई के तौर पर जस्टिस सूर्यकांत के नाम की सिफारिश करने वाले हैं। भूटान दौरे पर गए सीजेआई गवई ने टाइम्स ऑफ इंडिया से बात करते हुए कहा कि उनके ऑफिस को केंद्र सरकार से अगले सीजेआई के लिए सिफारिश मांगना वाला संदेश प्राप्त हुआ है। उन्होंने कहा, “मैं रविवार शाम को दिल्ली पहुंचूंगा और सोमवार को जस्टिस सूर्यकांत के नाम की सिफारिश अपने उत्तराधिकारी के तौर पर करूंगा।”
जस्टिस सूर्यकांत की बात करें तो वह इस समय सीजेआई गवई के बाद सबसे वरिष्ठ जज हैं। हरियाणा के हिसार के एक मिडिल क्लास परिवार में जन्में जस्टिस सूर्यकांत का पूरा बचपन ज्वाइंट फैमिली में बीता। उनके पिता टीचर थे। मैट्रिक तक की पढ़ाई उन्होंने गांव के सरकारी और हाई स्कूल में ही पूरी की।
जज के रूप में अपनी पदोन्नति से पहले, कांत एक वरिष्ठ वकील थे और उन्होंने हरियाणा के महाधिवक्ता के रूप में भी कार्य किया। वे रांची में राष्ट्रीय विधि अध्ययन एवं शोध विश्वविद्यालय के विजिटर भी हैं।इसके अलावा, वे राष्ट्रीय विधिक सेवा प्राधिकरण के पदेन कार्यकारी अध्यक्ष भी हैं।
उन्होंने 1981 में सरकारी पोस्ट ग्रेजुएट कॉलेज, हिसार से स्नातक की डिग्री हासिल की और इसके बाद 1984 में महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय, रोहतक से लॉ की डिग्री ली। वह हिमाचल प्रदेश हाई कोर्ट के भी चीफ जस्टिस रह चुके हैं। अब 24 नवंबर, 2025 को जस्टिस सूर्यकांत अगले सीजेआई बनने जा रहे हैं।







