नई दिल्ली। मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी के बाद भाजपा की चुनावी रणनीति में भी बदलाव हुआ है। पार्टी मुख्यमंत्री पर लगे भ्रष्टाचार के आरोप और उनके त्यागपत्र के मुद्दे को उठाने पर ध्यान केंद्रित कर रही है।
आप नेता भी जेल में केजरीवाल के स्वास्थ्य को लेकर लापरवाही करने को मुद्दा बना रहे हैं। मुख्यमंत्री के स्वास्थ्य पर अदालत में सुनवाई चल रही है। इस बदली हुई रणनीति के कारण आप और कांग्रेस को घेरने के लिए भाजपा के तीन स्तरीय आरोपपत्र के जारी होने में विलंब हो रहा है।
आप सीएम केजरीवाल की गिरफ्तारी को चुनावी मुद्दा बनाने का प्रयास कर रही है। मुख्यमंत्री ने अपनी गिरफ्तारी को हाई कोर्ट में चुनौती दी थी, परंतु अदालत ने उनके विरुद्ध निर्णय दिया। हाई कोर्ट के निर्णय को उन्होंने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है।
जेल में केजरीवाल की जान को खतरा- आप
हाई कोर्ट के निर्णय से आप के चुनाव प्रचार अभियान को झटका लगा है। अब पार्टी जेल में मुख्यमंत्री के स्वास्थ्य को मुद्दा बना रही है। आप नेता जेल में उनके जीवन को खतरा बता रहे हैं। इसे लेकर बयानबाजी हो रही है।
मुख्यमंत्री की गिरफ्तारी और आप नेताओं की ओर से की जा रही बयानबाजी का असर भाजपा के चुनाव प्रचार अभियान पर भी पड़ा है। पार्टी नेताओं के बयान भी अमूमन इसी विषय पर केंद्रित रह रहे हैं। मुख्यमंत्री के इस्तीफे के लिए पार्टी प्रदर्शन भी कर चुकी है।
SC के निर्णय का इंतजार, फिर उसी के अनुसार होगी घेराबंदी
भाजपा नेताओं का कहना है कि सुप्रीम कोर्ट के निर्णय का इंतजार किया जा रहा है। उसी के अनुसार मुख्यमंत्री और आप की घेराबंदी की जाएगी। आरोपपत्र भी उचित समय पर जारी होगा। पूर्व प्रदेश अध्यक्ष एवं विधायक विजेंद्र गुप्ता की अध्यक्षता वाली समिति आरोप पत्र तैयार कर रही है।
समिति से जुड़े नेताओं का कहना है कि आरोपपत्र लगभग तैयार है। पार्टी नेतृत्व से अनुमति मिलते ही इसे जारी कर दिया जाएगा। सीएम केजरीवाल ने कांग्रेस नेताओं के भ्रष्टाचार को उजागर करने के नाम पर दिल्ली की सत्ता प्राप्त की थी। अब वह उसके साथ गठबंधन कर चुनाव लड़ रहे हैं।
आरोपपत्र में इसे लेकर भी सीएम केजरीवाल और कांग्रेस से प्रश्न पूछे जाएंगे। साथ ही दिल्लीवासियों से आप के वादों की पड़ताल की गई है। भ्रष्टाचार के आरोप, प्रदूषण की समस्या, यमुना की सफाई, पेयजल आपूर्ति की समस्या, खराब स्वास्थ्य सेवा, बदहाल सार्वजनिक परिवहन प्रणाली, खस्ताहाल सड़कें, शिक्षा की स्थिति सहित अन्य विषयों को लेकर आप सरकार को कठघरे में खड़ा किया जाएगा।