नई दिल्ली। दिल्ली नगर निगम ने म्युनिसिपल वैल्यूएशन कमेटी (एमवीसी) की सिफारिशों को लागू कर दिया है। आम आदमी पार्टी (आप) की तरफ से शनिवार को बुलाई गई प्रेस कॉन्फ्रेंस में एमसीडी मेयर डॉ. शैली ओबरॉय और दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने यह जानकारी दी। मेयर शैली ओबरॉय ने बताया कि सिफारिशें लागू होने के बाद दिल्ली में करदाताओं को बड़ी राहत मिली है। बैंक्वेट हॉल, पेट्रोल पंप, फाइव स्टार होटल, स्कूल समेत किराये पर ली गई व्यवसायिक संपत्तियों पर अब पहले की तुलना में कम टैक्स अदा करना होगा।
मेयर ने बताया कि बीते साल एमवीसी कमेटी ने सिफारिश की थी, जिसे 4 नवंबर 2022 को स्वीकार कर लिया गया था। अब 19 अप्रैल को नगर निगम ने आदेश जारी किया है जिसमें साफ किया गया है कि एमवीसी कमेटी की सिफारिश एक अप्रैल से लागू होंगी। हमने कमेटी द्वारा सुझाए गए सभी 29 पैरामीटर्स को लागू किया है। इसके बाद करदाताओं को पहले की तुलना में कम टैक्स देना पड़ेगा। सभी श्रेणी में यूज फैक्टर को घटा दिया गया है। किराये की व्यवसायिक संपत्ति का यूज फैक्टर 2 से घटाकर 1.25 प्रतिशत कर दिया है। इसी तरह से फाइव स्टार होटल का 10 से घटाकर आठ, प्राइवेट स्कूल तीन से घटाकर दो और हॉस्टल का यूज फैक्टर 4 से घटाकर 2 फीसदी कर दिया गया है।
कॉलोनियों को भी दो गई राहत
सिफारिशें लागू होने के बाद कई कॉलोनियों की श्रेणी बदल गई है, जबकि कुछ कॉलोनी की नई श्रेणी बनाई गई है जिससे उन्हें कम अब टैक्स देना पड़ेगा। इसी तरीके से ऐसी कॉलोनियां जो अपने यहां कूड़े का निस्तारण वैज्ञानिक तरीके से करती हैं उन्हें भी 5 फीसदी की छूट दी जाएगी।
करदाताओं की बड़ी मांग पूरी : सौरभ भारद्वाज
दिल्ली सरकार के मंत्री सौरभ भारद्वाज ने कहा कि नगर निगम ने दिल्ली के करदाता को बड़ी राहत दी है। व्यापारियों की लंबे समय से मांग थी कि किराये पर ली गई व्यवसायिक संपत्ति पर भारी टैक्स देना पड़ता है, क्योंकि उसका बेस प्राइस दोगुना था जिसे अब घटा दिया गया है। उधर, उन्होंने मीडिया के सवाल पर कहा कि दिल्ली के उपराज्यपाल चुनी हुई सरकार के फैसलों के विपरीत जाकर फैसले ले रहे हैं, जिसके लिए कई मामलों में उन्हें सुप्रीम कोर्ट से भी नोटिस जारी हो चुका है।