नई दिल्ली। कर्नाटक की कांग्रेस सरकार में नेतृत्व को लेकर चल रहा विवाद एक बार फिर तेज हो गया है। मुख्यमंत्री सिद्धारमैया और उनके डिप्टी डी.के. शिवकुमार के बीच पावर-शेयरिंग को लेकर अटकलों के बीच अब दोनों ओर से संकेत एक बार फिर चर्चा में हैं।
मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने कहा है कि अगर पार्टी हाईकमान बुलाएगा तो वे दिल्ली जाने के लिए तैयार हैं। वहीं उपमुख्यमंत्री शिवकुमार ने सोशल मीडिया पर “वचन की ताकत” वाला पोस्ट डालकर हलचल बढ़ा दी है।
शिवकुमार के पोस्ट से बढ़ा रहा सियासी ताप
कर्नाटक के डिप्टी सीएम डी.के. शिवकुमार ने X पर एक तस्वीर शेयर की, जिसमें लिखा था, “Word power is world power… दुनिया की सबसे बड़ी ताकत अपना वचन निभाना है।” उन्होंने कैप्शन दिया-“Keeping one’s word is the greatest strength in the world!” इस पोस्ट को सियासी हलकों में साफ तौर पर सीएम कुर्सी से जोड़कर देखा जा रहा है।
कब से चल रही है सत्ता की खींचतान ?
मार्च 2023 के विधानसभा चुनाव में कांग्रेस की जीत के बाद से ही सत्ता साझा करने के ‘ढ़ाई-ढ़ाई साल फॉर्मूले’ की बातें चल रही हैं। कहा जाता है कि पार्टी हाईकमान ने सिद्धारमैया और शिवकुमार के बीच यह समझौता करवाया था। अब जैसे-जैसे 2.5 साल पूरा होने का समय नजदीक आ रहा है। ऐसे में शिवकुमार के समर्थक खुले तौर पर पावर ट्रांसफर की मांग उठा रहे हैं, वहीं सिद्धारमैया इस संभावना से लगातार इनकार करते आए हैं। हाल के दिनों में सीएम ने कैबिनेट फेरबदल के संकेत जरूर दिए हैं, लेकिन यह भी स्पष्ट कहा है कि वे मुख्यमंत्री बने रहेंगे।
खड़गे का हस्तक्षेप-दिल्ली में होगी बड़ी बैठक
सियासी तनाव के बीच अब कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे ने घोषणा की है कि वे जल्द ही राहुल गांधी, सिद्धारमैया और शिवकुमार समेत वरिष्ठ नेताओं की बैठक बुलाएंगे। खड़गे ने कहा-हम सभी नेताओं को दिल्ली बुलाकर चर्चा करेंगे और इस भ्रम को खत्म करेंगे। पार्टी का फैसला ही अंतिम होगा। PTI से बातचीत में खड़गे ने संकेत दिए कि जल्द ही दिल्ली में उच्चस्तरीय बैठक होगी, जिसमें कर्नाटक नेतृत्व मुद्दे पर अंतिम फैसला लिया जाएगा।
खड़गे की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया देते हुए शिवकुमार ने कहा, हमारे लिए पार्टी सबसे महत्वपूर्ण है। मैं इस समय कुछ नहीं मांग रहा। हम सब मिलकर पार्टी के हित में काम करेंगे। उन्होंने यह भी कहा कि व्यक्तिगत महत्वाकांक्षाओं से ऊपर पार्टी की एकजुटता है।
सिद्धारमैया का शक्ति प्रदर्शन?
सूत्रों के अनुसार, मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने 26 नवंबर को अपने घर पर पार्टी के कई वरिष्ठ मंत्रियों और अपने करीबी नेताओं-जी. परमेश्वर, सतीश जारकिहोली, एच.सी. महादेवप्पा, के. वेंकटेश और के.एन. राजन्ना-के साथ बैठक की है। इसे राजनीतिक विशेषज्ञ सिद्धारमैया के शक्ति प्रदर्शन के रूप में देख रहे हैं।
कर्नाटक कांग्रेस में यह विवाद अब खुलकर सामने आ चुका है। जहां शिवकुमार के समर्थक सत्ता की मांग जोर-शोर से उठा रहे हैं, वहीं सिद्धारमैया अपने खेमे को मजबूत करने में जुटे हैं। ऐसे में अब पूरा दारोमदार पार्टी हाईकमान-विशेषकर खड़गे और राहुल गांधी-पर है कि वे कैसे इस विवाद को शांत कर पाते हैं।







