दिल्ली सरकार कार्य दक्षता के लिए अपने विधायकों और अन्य जनप्रतिनिधियों को देश-विदेश भेजती रही है। एमसीडी (Delhi Nagar Nigam) में बहुमत पाने के बाद एक बार फिर दिल्ली सरकार ने अपने कुछ जनप्रतिनिधियों को भेजकर कूड़ा प्रबंधन की बेहतर तकनीक सीखने की बात कही है। हालांकि, विशेषज्ञों ने सरकार के इस कदम पर सवाल उठाए हैं। उनका कहना है कि कूड़ा प्रबंधन नगर निगम का कार्य है और अब तक वह इसे सही तरीके से करती भी रही है, इसलिए केवल बेहतर तकनीकी के नाम पर दिल्ली सरकार को जनता का पैसा बर्बाद नहीं करना चाहिए।
शहरी मामलों के विशेषज्ञ एवं एकीकृत दिल्ली नगर निगम की निर्माण समिति के अध्यक्ष रहे जगदीश ममगांई (Jagdish Mamgain) ने एमसीडी पर गठित दिल्ली विधानसभा समिति के ठोस अपशिष्ट प्रबंधन और स्वच्छता में सर्वोत्तम प्रथाओं के अध्ययन के लिए पुणे जाने पर आपत्ति जताते हुए इसे दिल्लीवासियों के पैसे का दुरुपयोग बताया है। एमसीडी पर गठित दिल्ली विधानसभा समिति निगम अधिनियम के तहत चले एवं कार्यप्रणाली बेहतर बनाने की दिशा में जानकारी व सुझाव निगम पार्षद व अधिकारियों को देने तक तो भूमिका अदा कर सकती है, पर उनकी जगह निगम चलाने या निगम कार्यों में हस्तक्षेप नहीं कर सकती है।
उन्होंने कहा कि अब जब दिल्ली नगर निगम के 250 पार्षदों का चुनाव दिल्लीवासियों ने कर लिया है, तो निगम के प्रमुख कार्यों में शामिल ठोस अपशिष्ट प्रबंधन और स्वच्छता पर योजना बनाना और उसके लिए अध्ययन करने का दायित्व उनका है। चुनाव के दौरान दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने दिल्ली की आरडब्ल्यूए को मिनी पार्षद का तमगा दिया था और कचरा प्रबंधन पृथक्करण विधि में आरडब्ल्यूए की भी प्रभावी भूमिका है, ऐसे में निगम पार्षद, निगम अधिकारी एवं आरडब्ल्यूए सहित सभी हितधारकों को अध्ययन कार्यक्रम में शामिल करना चाहिए था।
ममगांई ने कहा कि विधायकों की समिति का जाना मात्र सरकारी खर्च पर भ्रमण व मौज-मस्ती करना ही माना जा सकता है, यह निजी आनंद के लिए सरकारी धन का स्पष्ट दुरुपयोग है। दिल्ली की आप सरकार बारंबार केंद्र सरकार पर दिल्ली की निर्वाचित सरकार के अधिकारों का हनन करने का आरोप लगाती रही है, तो अब वे भी निगम के निर्वाचित पार्षदों के अधिकारों का हनन कर रहे हैं और वह भी तब जब उनकी पार्टी के पार्षदों का बहुमत है। उन्होंने प्रश्न किया कि क्या दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल अब दिल्ली नगर निगम को प्रॉक्सी व्यवस्था के रुप में चलाएगी?