नई दिल्ली। रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और दिवंगत पीएम अटल बिहारी वाजपेयी सरकार में अंतर पर खुलकर बात की। उन्होंने बताया कि पहले विदेश में हमारी बातों को गंभीरता से नहीं लिया जाता, लेकिन अब स्थिति बदल गई है। उन्होंने कहा कि पहले की सरकार भी रक्षा क्षेत्र पर ध्यान देती थी, लेकिन मौजूदा सरकार ने इसे ‘आत्मनिर्भर’ बनाने का काम किया है।
पहले बातों को गंभीरता से नहीं लेते थे- सिंह
सिंह का कहना है कि हम वो दिन दूर नहीं, जब हमारी सैन्य ताकत दुनिया सबसे ऊपर होगी। एनडीटीवी के एक कार्यक्रम में उन्होंने वाजपेयी सरकार का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा, ‘मैं अटल बिहारी वाजपेयी सरकार में भी मंत्री था। जब मैं दूसरे देशों में जाता था और अंतरराष्ट्रीय मंचों पर बोलता था, तो मुझे लगता था कि हमारी बातों को गंभीरता से नहीं लिया जाता।’
उन्होंने कहा, ‘लेकिन अब जब हम अंतरराष्ट्रीय मंचों पर बोलते हैं, तो दुनिया हमारी बात सुनती है। ऐसे हमारा कद बढ़ा है।’ उन्होंने कहा, ‘साल 2014 में जब प्रधानमंत्री मोदी की सरकार बनी, तब हमने रक्षा क्षेत्र को हमारी प्राथमिकता बनाया। आत्मनिर्भरता को बढ़ाया गया और हमने कई मेक-इन इंडिया पहल कीं। हमारा ध्यान सेना को आधुनिक बनाने पर था।’
उन्होंने कहा, ‘मैं यह नहीं कहता कि पिछली सरकारों ने रक्षा क्षेत्र पर ध्यान नहीं दिया, लेकिन हम इस क्षेत्र में आत्मनिर्भरता लेकर आए।’ उन्होंने इस दौरान अन्य देशों पर निर्भरता कम करने पर भी जोर दिया। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी अन्य देशों पर निर्भर होने की मानसिकता को तोड़ना चाहते हैं।
कहा- करारा जवाब मिलेगा
सिंह ने कार्यक्रम के दौरान सीमा पर तनाव को लेकर भी बात की। उन्होंने कहा, ‘चाहे जमीन हो, हवा हो या पानी… अगर किसी ने भारत पर हमला किया, तो हमारे बल मजबूती से जवाब देंगे। हमने कभी भी किसी की जमीन पर कब्जा नहीं किया, लेकिन अगर किसी ने हमपर हमला किया, तो करारा जवाब देने की स्थिति में हैं।’
रक्षा मंत्री का बयान ऐसे समय पर आया है, जब भारत वास्तविक नियंत्रण रेखा यानी LAC पर चीन के साथ तल्ख रिश्तों का सामना कर रहा है।