कीव l यूक्रेन में रूस की फौजों के बढ़ते कदम थम नहीं रहे हैं. इसी के साथ अब यूक्रेन को अपने सामरिक हथियारों की चिंता सताने लगी है. रूस की सेना अब कीव की ओर कूच कर चुकी है. राजधानी होने की वजह से कीव यूक्रेन का सबसे बड़ा और महत्वपूर्ण शहर है. अब रूस की सेना किसी भी तरह से इस शहर पर कब्जा करना चाहती है.
एक रूसी न्यूज एजेंसी ने दावा किया है कि यूक्रेन ने परमाणु हथियारों को बनाने से जुड़े अपने कुछ डाटा को नष्ट कर दिया है. तो न्यूक्लियर आर्म्स से जुड़े कुछ डाटा को सुरक्षित स्थान पर ले गया है. रिपोर्ट के अनुसार यूक्रेन ने कीव, खारकीव और लवीव शहर में मौजूद परमाणु प्रतिष्ठानों से डाटा को हटाया है और नष्ट किया है. रूस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने न्यूज एजेंसी RIA Novosti से ये दावा किया है.
परमाणु हथियारों से जुड़े डाटा को ठिकाने लगा रहा यूक्रेन
सूत्रों ने कहा कि, “रूस के साथ संबंधों में बढ़ते तनाव को देखते हुए, यूक्रेनी नेतृत्व ने कीव और खारकीव में अपने वैज्ञानिक केंद्रों में रखे गए सभी संवेदनशील दस्तावेजों को नष्ट करने या उन्हें वहां से हटाने का फैसला किया है. यही निर्णय लवीव पॉलिटेक्निक नेशनल यूनिवर्सिटी के लिए किया गया है. जहां कुछ न्यूक्लियर दस्तावेज रखे गए हैं.
सूत्रों का कहना ये है कि ऐसा इसलिए किया जा रहा है क्योंकि यूक्रेन की सरकार पर ये आरोप न लगे कि कीव शांतिपूर्ण परमाणु कार्यक्रम की आड़ में परमाणु हथियारों का विकास और संवर्धन कर रहा था. दरअसल यूक्रेन की सरकार को लगता है कि अगर खारकीव की तरह कीव भी अगर यूक्रेन के हाथ से निकल गया तो दुश्मन के साथ उसके कई सैन्य राज आ सकते हैं.
रूस पर नकेल के लिए बोरिस जॉनसन का प्लान
इस बीच ब्रिटेन के PM बोरिस जॉनसन ने रूस की नकेल कसने के लिए 6-प्वाइंट का प्लान बनाया है. जानकारी के मुताबिक जॉनसन कनाडा, नीदरलैंड, चेक गणराज्य, हंगरी, पोलैंड और स्लोवाकिया के नेताओं के साथ इस प्लानिंग पर बातचीत करेंगे. बोरिस जॉनसन का ये प्लान कुछ इस तरह है.
1- विश्व के नेताओं को यूक्रेन के लिए अंतरराष्ट्रीय मानवीय गठबंधन जुटाना चाहिए.
2- दुनिया के देशों को अपनी आत्मरक्षा सुनिश्चित करने के प्रयासों में यूक्रेन का समर्थन करना चाहिए.
3-रूस पर आर्थिक दबाव बढ़ाया जाना चाहिए;
4-यूक्रेन में अपने सैन्य कार्रवाई को सही ठहराने में जुटे रूस की कोशिशों का अंतरराष्ट्रीय समुदाय को विरोध करना चाहिए.
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5- युद्ध पर राजनयिक निर्णय किए जाने चाहिए, लेकिन इसमें केवल यूक्रेन की वैध सरकार की पूर्ण भागीदारी होनी चाहिए.
6- नाटो देशों में “सुरक्षा और एक्शन लेने की क्षमता को मजबूत करने के लिए तेज अभियान” होना चाहिए.