नई दिल्ली। भारतीय क्रिकेट के इतिहास में 29 मार्च का दिन काफी स्पेशल है. 20 साल पहले यानी 2004 में इसी दिन भारतीय टीम के विस्फोटक बल्लेबाज वीरेंद्र सहवाग ने मुल्तान क्रिकेट स्टेडियम में इतिहास रच दिया था. सहवाग ने तब पाकिस्तान के खिलाफ 309 रनों की यादगार पारी खेली थी. इस तिहरे शतक ने सहवाग को ‘मुल्तान का सुल्तान’ बना दिया. साथ ही वीरू ने टेस्ट क्रिकेट को भी वनडे स्टाइल में खेलने की अपनी छवि से पूरे क्रिकेट जगत को वाकिफ कराया.
राहुल द्रविड़ ने की थी उस मैच में कप्तानी
बता दें कि उस साल भारतीय टीम तीन टेस्ट और पांच वनडे मुकाबले खेलने के लिए पाकिस्तान के ऐतिहासिक दौरे पर गई थी. दौरे का आगाज ही मुल्तान से हुआ, जहां टेस्ट सीरीज का पहला मुकाबला खेला गया. मुल्तान टेस्ट मैच में सौरव गांगुली नहीं खेल पाए थे और उनकी अनुपस्थिति में राहुल द्रविड़ ने कप्तानी संभाली.
राहुल द्रविड़ ने टॉस जीता और पहले बल्लेबाजी का फैसला किया. टेस्ट मैच के पहले दिन (28 मार्च) भारतीय बल्लेबाजों ने धमाकेदार बैटिंग की. वीरेंद्र सहवाग ने आकाश चोपड़ा के साथ मिलकर 39.4 ओवरों में 160 रनों की पार्टनरशिप कर डाली. हालांकि इस पार्टनरशिप में चोपड़ा का योगदान महज 42 रनों का था. जब चोपड़ा आउट हुए तब तक सहवाग अपना शतक पूरा कर चुके थे. सहवाग ने तेज गेंदबाज शोएब अख्तर की बॉल पर छक्का लगाकर अपना शतक पूरा किया था.
आकाश चोपड़ा के बाद कप्तान राहुल द्रविड़ (6) जरूर सस्ते में आउट हो गए, लेकिन वीरेंद्र सहवाग के इरादे कुछ और ही थे और उन्होंने रनों की बारिश जारी रखी. सहवाग को मास्टर ब्लास्टर सचिन तेंदुलकर का साथ मिला. दोनों ही खिलाड़ियों ने पाकिस्तान को कोई मौका नहीं दिया और जमकर रन बटोरे. पहले दिन का खेल समाप्त होने तक भारत ने 2 विकेट पर 356 रन बना डाले. इनमें से 228 रन तो अकेले सहवाग के बल्ले से निकले थे.
मुश्ताक की गेंद पर लगाया गया वो यादगार सिक्स…
अब मैच के दूसरे दिन यानी 29 मार्च को वीरेंद्र सहवाग से तिहरे शतक की उम्मीद थी. सहवाग भारतीय फैन्स को बिल्कुल निराश नहीं किया. लंच के कुछ देर बाद ही सहवाग ने स्पिनर सकलैन मुश्ताक की गेंद पर छक्का जड़कर तिहरा शतक पूरा कर लिया. इसके साथ ही सहवाग टेस्ट मैच में तिहरा शतक लगाने वाले पहले भारतीय बल्लेबाज बन गए. सहवाग ने सिर्फ 364 गेंदों में यह अनोखी उपलब्धि हासिल की, जिसमें 38 चौके एवं छह छक्के शामिल रहे.
सहवाग तिहरा शतक बनाने के बाद ज्यादा देर तक क्रीज पर नहीं टिक पाए और 309 रनों के निजी स्कोर पर उन्हें मोहम्मद सामी ने चलता किया था. सहवाग और सचिन के बीच तीसरे विकेट के लिए 336 रनों की साझेदारी हुई थी. सहवाग के बाद सचिन ने युवराज सिंह (59 रन) के साथ शतकीय साझेदारी करके भारत को काफी बड़े स्कोर तक पहुंचा दिया.
भारत ने मैच में हासिल की थी धांसू जीत
भारतीय टीम ने पांच विकेट पर 675 रनों के स्कोर पर पारी घोषित कर दी थी. हालांकि कार्यवाहक कप्तान राहुल द्रविड़ के पारी घोषित करने के फैसले पर खूब सवाल खड़े हुए थे क्योंकि सचिन उस समय 194 रनों के स्कोर पर नाबाद थे. भारतीय टीम उस मैच को पारी और 52 रनों से जीतने में सफल रही थी. सहवाग ‘प्लेयर ऑफ द मैच’ चुने गए थे.
पाकिस्तान के खिलाफ सहवाग का धांसू रिकॉर्ड
पाकिस्तान के खिलाफ टेस्ट क्रिकेट में सहवाग का बल्ला जमकर गरजा. सहवाग ने पाकिस्तान के खिलाफ 9 टेस्ट मैचों में 91.14 की औसत से 1276 रन बनाए. इस दौरान उनके बल्ले से चार शतक निकले. सहवाग ने ओवरऑल 104 टेस्ट मैचों में 8586 रन बनाए थे, जिनमें 23 शतक शामिल रहे. टेस्ट क्रिकेट में वीरू का उच्चतम स्कोर 319 रहा, जो उन्होंने साउथ अफ्रीका के खिलाफ बनाया था. वह दो तिहरा शतक लगाने वाले टीम इंडिया के इकलौते खिलाड़ी हैं.
वनडे इंटरनेशनल की बात की जाए तो, वीरेंद्र सहवाग ने 251 मैच खेले. इस दौरान उन्होंने 15 शतक और 38 अर्धशतकों की मदद से 8283 रन बनाए थे. वनडे इंटरनेशनल में सहवाग का उच्चतम 219 रन रहा. सहवाग ने 19 टी20 इंटरनेशनल मैच भी खेले, जिसमें उनके नाम पर 394 रन दर्ज हैं.