नई दिल्ली l जहांगीरपुरी हिंसा मामले में फरार पांच आरोपियों के खिलाफ रोहिणी कोर्ट ने गैर जमानती वारंट जारी किया है। अदालत ने पुलिस का पक्ष सुनने के बाद पांचों आरोपियों को आठ दिन के लिए रिमांड बढ़ा दी है। वहीं चार अन्य आरोपियों अक्सर, मो. अली, गुलाम रसूल और शेख हामिद को 30 अप्रैल तक न्यायिक हिरासत भेजने का आदेश दिया है।
रोहिणी स्थित मेट्रोपॉलिटन मजिस्ट्रेट मयंक गोयल की अदालत ने हिंसा के पीछे कथित मुख्य साजिशकर्ता अंसार, सोनू, सलीम, अहीर और दिलशाद की रिमांड अवधि आठ दिन बढ़ाई है। सोनू को झड़प के दौरान फायरिंग करते हुए एक वीडियो में देखा गया था। इन आरोपियों को तीन दिन की रिमांड अवधि समाप्त होने के बाद अदालत में पेश किया गया था। इस बीच, अदालत ने आरोपी सांवर कालिया, सद्दाम खान, अनवर, चांद और सलमान के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी किया।
दरअसल पुलिस की तरफ से अदालत का बताया गया कि ये पांच आरोपी फरार चल रहे हैं। इन्हें पकड़ने के कई प्रयास किए गए लेकिन ये हाथ नहीं आ रहे। इसके बाद अदालत ने इनके खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी करने के आदेश दिए। अदालत ने रिमांड पर दिए गए आरोपियों को वीडियो कान्फ्रेंसिंग के जरिए एक मई को अदालत में पेश करने को कहा है। एक मई को इनकी रिमांड अवधि समाप्त होगी।
आरोपियों को रिमांड पर लेने के लिए पुलिस की तरफ से दलील दी गई कि यह साजिश बहुत बड़ी है। इन आरोपियों पर राष्ट्रीय सुरक्षा कानून(एनएसए) लगाया गया है। आरोपियों का आमना-सामना कराकर साजिश की परतों को खोलना है। साथ ही पूरे घटनाक्रम को जोड़ने के लिए भी इने पूछताछ की आवश्यकता है। पुलिस ने अदालत से कहा कि प्रत्येक आरोपी की इस हिंसा में भूमिका का भी पता लगाना है। इसके अतिरिक्त कथित अपराध में इस्तेमाल अवैध हथियारों के स्त्रोत का पता लगाना है। बता दें कि शनिवार को जहांगीरपुरी में एक हनुमान जयंती जुलूस के दौरान दो समुदायों के बीच झड़पें हुईं, जिसमें आठ पुलिस कर्मी और एक स्थानीय निवासी घायल हो गया। पुलिस के अनुसार, झड़पों के दौरान पथराव और आगजनी हुई और कुछ वाहनों को भी आग के हवाले कर दिया गया था।